कांवड़ यात्रा रूट की दुकानों पर नेमप्लेट के बाद अब महाकुंभ में पहचान पत्र जरूरी करने की मांग

कांवड़ यात्रा रूट पर नेम प्लेट जरूरी किए जाने का विवाद और बढ़ गया है. फिलहाल आज सुप्रीम कोर्ट में मामले पर सुनवाई हुई. जिसके बाद कोर्ट ने योगी सरकार के आदेश पर रोक लगा दिया है. इधर, कांवड़ रूट के बाद अब प्रयागराज में लगने जा रहे महाकुंभ में भी पहचान पत्र जयरी किए जाने की मांग की गई है.

साधु-संतों की सबसे बड़ी संस्था अखिल भारतीय अखाड़ा परिषद ने महाकुंभ में आने वाले सभी लोगों के पहचान पत्र साथ होने की मांग की. अखाड़ा परिषद के महामंत्री और जूना अखाड़े के संरक्षक स्वामी हरि गिरि जी महाराज ने यह मांग उठाई. उन्होंने कहा कि सरकार यह आदेश जारी करे कि प्रयागराज में 13 जनवरी से शुरू हो रहे महाकुंभ मेले में आने वाले सभी लोग अपना पहचान पत्र साथ रख कर लाएं.



हरि गिरि का कहना है कि लोग सिर्फ पहचान पत्र ही ना लाएं, बल्कि उसकी कॉपी भी प्रमाणित करा कर लाएं. कई बार लोग फर्जी पहचान पत्र भी बनवा लेते हैं इसलिए आधार कार्ड-वोटर कार्ड या दूसरे पहचान पत्र की कापी को किसी गैजेटेड आफिसर, पार्षद, ग्राम प्रधान, पंचायत सचिव या किसी अन्य से प्रमाणित कराकर भी ले आए. मेला प्रशासन या फिर जिस भी संत महात्मा अथवा तीर्थ पुरोहित के यहां जाएं उसे पहले से पूरी सूची प्रमाणित पहचान पत्र की कॉपी के साथ भेजें ताकि जरूरत पड़ने पर उसका वेरिफिकेशन हो सके.

महंत हरि गिरि ने योगी सरकार और महाकुंभ प्रशासन से महाकुंभ में आने वाले श्रद्धालुओं के लिए ऑनलाइन रजिस्ट्रेशन की भी व्यवस्था किए जाने की मांग की. अखाड़ा परिषद के महामंत्री का कहना है कि इस बार का महाकुंभ चुनौतियों से भरा हुआ है. देश दुनिया से तकरीबन 40 करोड़ श्रद्धालुओं के आने की उम्मीद है. तमाम लोग ऐसे हैं जो सनातन को लेकर हिंसक हो रहे हैं.

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